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स्टालिन ने संभाली तमिलनाडु की बागडोर, मंत्रिमंडल में वरिष्ठ नेताओं को भी मिली तरजीह

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री पद के लिए पहली बार डीएमके प्रमुख एम के स्टालिन ने आज शपथ ले ली। राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित ने स्टालिन को शपथ दिलाई। स्टालिन ने गृह के अलावा सार्वजनिक व सामान्य प्रशासन समेत अखिल भारतीय सेवाएं और अन्य विभाग भी अपने पास ही रखा।

स्टालिन की सरकार में उनके साथ 33 सदस्यीय मंत्रिमंडल होगा। मे। इनमें से 15 पहली बार मंत्री बनेंगे। वहीं, स्टालिन ने अपने मंत्रिमंडल में कुछ वरिष्ठ नेताओं को भी बरकरार रखा है। द्रमुक के नेता व पार्टी सचिव दपरईमुरुगन उन्हीं वरिष्ठ नेताओं में से एक है, जिनको मंत्री बनाया गया है। वह जल संसाधन मंत्री होंगे। इससे पहले 2006-11 वाली सरकार में वो लोक निर्माण मंत्री थे।

वहीं, चेन्नई के पूर्व मेयर एम सुब्रमणयन और पार्टी के नेता पी. के. सेकराबाबू पहली बार मंत्री का पदभार संभालेंगे।
जानकारी के मुताबिक, सुबर्मणयन को स्वास्थ्य एंव परिवार कल्याण विभाग और सेकरबाबू को हिंदू धार्मिक एवं धर्मार्थ प्रबंधन विभाग दिया गया।

स्टालिन सरकार में पदभार ग्रहण करने वाले मंत्रियों में शिवा वी मयनाथन, पी के सेकरबाबू, एस एस नसर, चेन्नई के पूर्व मेयर सुब्रमण्यन, द्रमुक पूर्व सचेतक और सखापानी, पी मूर्ति, आर गांधी, एस एस शिवशंकर, पलानीवेल त्यागराजन, अनिबल महेश मोय्यामोजी, सीवी गणेशन और टी मनो थांगराज शामिल हैं। स्टालिन ने अपनी सरकार में दो महिला प्रतिनिधि को भी जगह दी है, जो पूर्व मंत्री शुश्री गीता जीवन और एन क्लायविजी सेल्वराज हैं।