NewsExpress

News Express - Crisp Short Quick News
मानसून सत्र से पहले सपा का पैदल मार्च, योगी ने कहा- लोकतांत्रिक तरीके से बात रखने का सबको अधिकार

उत्तर प्रदेश में सोमवार से विधानसभा का मॉनसून सत्र शुरू होने वाला है। लेकिन इससे पहले जमकर राजनीति हो रही है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपने विधायकों और समर्थकों के साथ विधानसभा भवन तक पैदल मार्च निकाला है। इस दौरान उन्होंने योगी सरकार पर भी जमकर निशाना साधा है। हालांकि पैदल मार्च तय मार्ग से ना ले जाने के कारण पुलिस के द्वारा इस मार्च को रोक दिया गया है। इसके बाद अखिलेश यादव बीच सड़क पर ही अनशन के लिये बैठ गए हैं।

क्या कहा अखिलेश यादव ने?

पैदल मार्च के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा, “उत्तर प्रदेश में कुछ हिस्सों में बाढ़ और कुछ हिस्सों में सूखा है। सरकार ने किसानों को इससे हुए नुकसान पर कोई राहत नहीं दी है। लम्पी वायरस से हजारों-हजार गायों की जान जा चुकी हैं, सरकार उन जानवरों की देखभाल के लिए भी कुछ नहीं कर पाई है।” उन्होंने आगे कहा, “सरकार लगातार महंगाई बढ़ा रही है। जनता महंगाई में पिस गई है। कानून व्यवस्था कभी इतना बर्बाद नहीं हुआ होगा, भ्रष्टाचार चरम सीमा पर है।”

योगी आदित्यनाथ ने किया पलटवार

अखिलेश यादव के पैदल मार्च पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा, “किसी भी दल और व्यक्ति को लोकतांत्रिक तरीके से अपनी बात रखने में कहीं कोई बुराई नहीं है। अगर समाजवादी पार्टी ने अनुमति मांगी होगी तो जो भी सरल मार्ग होगा प्रशासन ने उनको उपलब्ध कराया होगा।” उन्होंने आगे कहा, “मुझे लगता है कि समाजवादी पार्टी से यह उम्मीद करना कि वह किसी नियम या किसी शिष्टाचार को माने, यह केवल एक कपोल कल्पना ही कही जा सकती है।” साथ ही योगी आदित्यनाथ ने सरकार का बचाव करते हुए कहा कि 25 करोड़ लोगों के हितों के लिए डबल इंजन की सरकार बिना भेदभाव के कार्य कर रही है। डबल इंजन की सरकार समाज के अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति को शासन की योजानाओं का लाभ पहुंचा रही है। विभिन्न चुनौतियों का सामना करते हुए भी यहां अभाव और अराजकता के लिए जगह नहीं है।

पूर्वानुमति नहीं माँगी गयी: पुलिस

लखनऊ के ज्वाइंट कमिश्नर लॉ एंड ऑर्डर पीयूष मोर्डिया ने अखिलेश यादव के इस पैदल मार्च को लेकर कहा कि पैदल यात्रा की जानकारी मिली थी। इसके लिए पूर्वानुमति नहीं मांगी गई थी। हमने उनको एक मार्ग निर्धारित करके दिया था जिससे यातायात और अन्य परेशानी नहीं होती। उन्होंने यह नहीं माना। हमारे पास उनको रोकने के अलावा कोई अन्य उपाय नहीं है।