हरियाणा में ‘गोरख धंधा’ शब्द के प्रयोग करने पर लगा प्रतिबंध, जानिए क्यों
हरियाणा की मनोहर लाल खट्टर सरकार ने ‘गोरखधंधा’ शब्द के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगा दिया है। इस शब्द का इस्तेमाल आमतौर पर अनैतिक प्रथाओं का जिक्र करने के लिए किया जाता है। बुधवार, 18 अगस्त को हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर ने एक समुदाय के लिए इसे आहत करने वाला बताते हुए इस शब्द के प्रयोग पर रोक लगाने का आदेश दिया है।
एक आधिकारिक बयान में मुख्यमंत्री ने कहा कि इस शब्द से संत गोरखनाथ जी के शिष्य आहत होेते हैं। गोरखनाथ समुदाय के एक प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात करने के बाद मुख्यमंत्री खट्टर ने यह फैसला लिया है। प्रतिनिधिमंडल द्वारा सीएम से इस शब्द के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाने का अनुरोध किया गया था।
गुरु गोरखनाथ थे एक संत
मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर ने कहा कि गुरु गोरखनाथ एक संत थे और किसी भी राजभाषा, भाषण या किसी भी संदर्भ में इस शब्द का इस्तेमाल उनके शिष्यों की भावनाओं को आहत करता है, इसलिए राज्य में इस शब्द का प्रयोग पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया गया है।
सीएम खट्टर ने कहा कि जब भी किसी समुदाय या वर्ग ने किसी नाम या शब्द को लेकर कोई आपत्ति जताई है, तब उसे सरकार ने या तो बदल दिया है या उसके प्रयोग पर पाबंदी लगा दी है। प्रदेश में गुरु गोरखनाथ के बहुत शिष्य हैं, इस शब्द के इस्तेमाल से उनकी भावनाएं को आहत नहीं होने दिया जायेगा। हर वर्ग की भावनाओं की कद्र करना सरकार का काम है।
बता दें कि गुरु गोरखनाथ एक संत थे और सोनीपथ के करीब 20 किलोमीटर दूर गोर्ड गांव में उनके नाम पर एक मंदिर भी बना हुआ है।