NewsExpress

News Express - Crisp Short Quick News
ब्रॉडबैंड न सिर्फ गांवों में सुविधाएं देगा बल्कि गांवों में कौशल प्राप्त युवाओं का एक बड़ा पूल भी तैयार करेगा: प्रधानमंत्री मोदी

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हाल ही में घोषित केंद्रीय बजट 2022 पर एक बजट के बाद वेबिनार को संबोधित करते हुए कहा कि ग्रामीण डिजिटल संपर्क अब केवल आकांक्षा नहीं है बल्कि एक आवश्यकता बन गई है।

वेबिनार का विषय ‘कोई भी नागरिक पीछे न रह जाए’ था। इसका उद्देश्य उद्योग जगत के प्रतिनिधियों, नीति निर्माताओं और सरकारी अधिकारियों को एक साथ एक मंच पर लाकर बजट के सकारात्मक प्रभाव पर विचार-विमर्श करना और प्रत्येक घर और गांव की संतृप्ति के साथ सभी के उत्थान के सामान्य लक्ष्य को आगे बढ़ाने की दिशा में सामूहिक रूप से काम करने के लिए क्षेत्र विशिष्ट कार्रवाई योग्य रणनीतियों की पहचान करना और किसी को भी पीछे नहीं छोड़ना था।

वेबिनार में बोलते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ब्रॉडबैंड न केवल गांवों में सुविधाएं प्रदान करेगा बल्कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में कौशल प्राप्त युवाओं का एक बड़ा पूल भी तैयार करेगा।

उन्होंने बल देकर कहा कि ब्रॉडबैंड, ग्रामीण क्षेत्रों में सेवा क्षेत्र का विस्तार करने और अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने में मदद करेगा। उन्होंने विशेष रूप से आकांक्षी जिलों में बुनियादी ढांचे के प्रावधान के लिए एक संतृप्ति दृष्टिकोण की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने लक्ष्यों को प्राप्त करने में गांवों के बीच इस तरह की कनेक्टिविटी और स्वस्थ प्रतिस्पर्धा के उपयोग के बारे में जागरूकता फैलाने की आवश्यकता पर भी जोर दिया।

केंद्रीय बजट 2022-23 ने एक बजट घोषणा के माध्यम से दूरसंचार क्षेत्र को एक प्रोत्साहन प्रदान किया है, जिसमें ग्रामीण और दूर-दराज़ के इलाकों में सुलभ ब्रॉडबैंड और मोबाइल सेवाओं के प्रसार को सक्षम बनाने के लिए अनुसंधान एवं विकास और प्रौद्योगिकियों और समाधानों के व्यावसायीकरण को बढ़ावा देने के लिए यूएसओएफ के अंतर्गत वार्षिक संग्रह का 5 प्रतिशत आवंटित करने का प्रस्ताव है। इसके अलावा 2025 तक सभी गांवों को ऑप्टिकल फाइबर नेटवर्क से जोड़ने का भी प्रस्ताव है।

बजट की गति को आगे बढ़ाने और इस गति को बनाए रखने के लिए तथा सभी संबंधित हितधारकों द्वारा बजट कार्यान्वयन में स्वामित्व की भावना पैदा करने के लिए, विभिन्न मंत्रालयों और विभागों के माध्यम से वेबिनार की एक श्रृंखला आयोजित की गई। ऐसा ही एक बजट के बाद का वेबिनार ग्रामीण विकास विभाग द्वारा “कोई भी नागरिक पीछे न रह जाए” विषय पर आयोजित किया गया था। ब्रेक-अवे सत्र में से एक सत्र “सभी ग्रामीण बस्तियों के लिए सड़क और सूचना मार्ग” विषय पर था।

यह माना गया कि प्रमुख रूप से ग्रामीण और दूरदराज के इलाकों में डिजिटल संतृप्ति वित्तीय, सामाजिक या आर्थिक विकास सहित विकास के सभी पहलुओं को प्राप्त करने का आधार है।

शत-प्रतिशत संतृप्ति प्राप्त करने के लिए, यह संकेत दिया गया था कि लागत और प्रौद्योगिकी कुशल सेवाएं प्रदान करने के लिए सभी हितधारकों के अभिसरण की आवश्यकता है जो भारत सरकार के गतिशक्ति कार्यक्रम का भी हिस्सा है। इसके लिए भारतनेट का लाभ उठाया जाएगा और बेहतर मांग के लिए मानदंडों के अनुसार अपटाइम और एसएलए सुनिश्चित करने सहित सभी ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों के शुरुआती संतृप्ति के लिए उपयोग किया जाएगा।

ने

एक आवश्यकता महसूस की गई कि सभी सरकारी कार्यक्रमों और योजनाओं में आउटकम फोकस मुख्य उद्देश्य होना चाहिए। ग्रामीण विशिष्ट सामग्री के केंद्रित विकास के अलावा प्रौद्योगिकियों के नए विकास को सुनिश्चित करने के लिए नवाचार सम्मेलन गतिविधियों में से एक हो सकता है।

हितधारकों की चर्चा और इनपुट के आधार पर, आरओडब्ल्यू मुद्दों को प्रमुख चुनौतियों के रूप में पहचाना गया और एकल खिड़की मंजूरी के माध्यम से शीघ्र समाधान के लिए राष्ट्रीय पोर्टल के निर्माण सहित राज्य सरकार के विभागों को क्रियाशील बनाने के लिए प्रयास किए जाने की आवश्यकता है।

उद्योग जगत के विशेषज्ञों ने दूरसंचार क्षेत्र में बिजली की आवश्यकता, हरित दूरसंचार पर ध्यान केंद्रित करने और सेवाओं के लिए कर और शुल्क संरचना और नियामक शुल्क में कमी सहित आपूर्ति पक्ष और मांग पक्ष की बाधाओं पर ध्यान देने की आवश्यकता को रेखांकित किया। ब्रॉडबैंड योजना को लागू करने के लिए विभाग की कार्यान्वयन रणनीति ग्रामीण क्षेत्रों में विभिन्न हितधारकों से इस बारे में बहुमूल्य प्रतिक्रिया और सुझावों को शामिल किया जाएगा।