केंद्र सरकार की राज्यों को सलाह, आईसीएमआर के परामर्श से जिला स्तर पर करें सीरो प्रिवलेंस सर्वे
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने आईसीएमआर के जरिए किए राष्ट्रीय सीरो प्रिवलेंस सर्वे के चौथे दौर के निष्कर्षों का उल्लेख किया है और राज्यों को अपने राज्यों में सीरो प्रिवलेंस सर्वे करने की सलाह दी है ।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने आईसीएमआर द्वारा किए गए राष्ट्रीय सीरो-प्रिवलेंस सर्वेक्षण के चौथे दौर के निष्कर्षों का उल्लेख किया है और राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को सलाह दी है कि वे आईसीएमआर के परामर्श से अपने स्वयं के राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में सीरो-प्रिवलेंस का अध्ययन करें।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने ऐसा इसलिए कहा कि ताकि इस तरह के अध्ययनों में एक मानकीकृत प्रोटोकॉल का पालन किया जाए, और संबंधित राज्य/केंद्र शासित प्रदेश इस तरह के अध्ययनों के निष्कर्षों का उपयोग कोविड-19 को लेकर एक सही, पारदर्शी और साक्ष्य-आधारित सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने में किया जा सके।
देश मे आईसीएमआर ने अब तक कोरोना वायरस के प्रसार को पता लगाने के लिए 4 सीरो सर्वे किए है। ये चारों सीरो सर्वे देश के 21 राज्यों के 70 जिलों में हुए है. चारों सीरो सर्वे के नतीजे कुछ इस तरह थे-
– मई जून 2020 के पहले सीरो सर्वे में 0.7%
– अगस्त-सितंबर 2020 के दूसरे सीरे सर्वे में 7.1%
– दिसंबर 2020 से जनवरी 2021 के तीसरे सीरो सर्वे में 24.1% sero पॉजिटिविटी पाई गई थी.
– चौथा सर्वे जून से जुलाई के बीच हुआ और उसके मुताबिक 67.6% लोग अब तक कोरोना वायरस के संक्रमण के दायरे में आ चुके हैं।
चौथे सीरो सर्वे की बड़ी बातें
– कुल 28,975 लोगों पर सर्वे किया गया.
– इसमें 6-9 साल के 2892, 10 से 17 साल के 5799, 18 साल से ज्यादा उम्र के 20,984 लोग शामिल किए गए.
– आयु वर्ग के हिसाब से सीरो प्रीवलेंस की बात करें तो 6 से 9 साल में 57.2 प्रतिशत, 10 से 17 साल की उम्र में 61.6 प्रतिशत, 18 से 44 में 66.7 प्रतिशत, 45 से 60 साल की उम्र की बात करें तो 76.7 प्रतिशत और 60 साल के ऊपर आयु वर्ग में 76.7 प्रतिशत संक्रमण पाया गया.
\
– पुरुषों में 65.8 और महिलाओं में 69.2 प्रतिशत संक्रमण पाया गया.
– ग्रामीण इलाकों में 66.7 प्रतिशत और शहरी इलाकों में 69.6 प्रतिशत लोगों में संक्रमण पाया गया