सरकार ने गेहूं के आटे के निर्यात पर प्रतिबंध के लिए मौजूदा नीति में संशोधन को दी मंज़ूरी
आटे की बढ़ती कीमतों पर अंकुश लगाने के लिए सरकार ने गेहूं के आटे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने की अनुमति के लिए मौजूदा नीति में संशोधन के प्रस्ताव को मंज़ूरी दी है।
आधिकारिक बयान के अनुसार, मंत्रिमंडल के इस निर्णय से अब गेहूं के आटे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने की अनुमति होगी। इससे आटे की बढ़ती कीमतों पर अंकुश लगेगा और समाज के सबसे कमजोर तबके के लिये खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित होगी।
विदेश व्यापार महानिदेशालय इस बारे में अधिसूचना जारी करेगा।
रूस और यूक्रेन गेहूं के प्रमुख निर्यातक हैं। दोनों देशों की वैश्विक गेहूं व्यापार में लगभग एक-चौथाई हिस्सेदारी हैं। दोनों देशों के बीच युद्ध से गेहूं की आपूर्ति व्यवस्था प्रभावित हुई है। इससे भारतीय गेहूं की मांग बढ़ गई है।
इसके कारण घरेलू बाजार में गेहूं के दाम में तेजी देखने को मिली है।
बकौल केंद्र, इससे वंचित वर्ग के लिए खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित होगी। मई-2022 में भारत ने हीटवेव और रूस-यूक्रेन युद्ध के मद्देनज़र गेहूं निर्यात पर प्रतिबंध लगाया था।