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अब तेलंगाना में मिला मंकीपॉक्स के मामले, जानिए क्या है लक्षण और कैसे करें बचाव?

भारत में भी मंकीपॉक्स संक्रमण लगातार अपना पैर पसार रहा है। केरल और दिल्ली के बाद अब तेलंगाना में मंकीपॉक्स के मामले सामने आया है। बता दें, मंकीपॉक्स को अंतरराष्ट्रीय स्वास्थ्य संगठन ने हेल्थ इमरजेंसी घोषित कर दिया है।

गंभीर बात यह है कि दिल्ली में जो मामला सामने आया है, उस व्यक्ति का कोई अंतरराष्ट्रीय यात्रा का इतिहास नहीं हैं। वहीं केरल में अबतक तीन लोगों को संक्रमित पाया गया था। सभी संक्रमित व्यक्ति यूएई से लौटे थे। अब आंशका यह जताई जा रही है कि क्या मंकीपॉक्स का कम्युनिटी स्प्रेड शुरू हो गया है?

मंकीपॉक्स के लक्षण

मंकीपॉक्स वायरस का इन्क्यूबेशन पीरियड 6 से 13 दिन तक होता है। कई बार 5 से 21 दिन तक का भी हो सकता है। इन्क्यूबेशन पीरियड का मतलब ये होता है कि संक्रमित होने के बाद लक्षण दिखने में कितने दिन लगे। संक्रमित होने के पांच दिन के भीतर बुखार, तेज सिरदर्द, सूजन, पीठ दर्द, मांसपेशियों में दर्द और थकान जैसे लक्षण दिखते हैं। मंकीपॉक्स शुरुआत में चिकनपॉक्स, खसरा या चेचक जैसा दिखता है। बुखार होने के एक से तीन दिन बाद त्वचा पर इसका असर दिखना शुरू होता है। शरीर पर दाने निकल आते हैं। हाथ-पैर, हथेलियों, पैरों के तलवों और चेहरे पर छोटे-छोटे दाने निकल आते हैं। ये दाने घाव जैसे दिखते हैं और खुद सूखकर गिर जाते हैं।

फैलने से कैसे रोके?

इस संक्रमण को रोकने के लिए तीन सप्ताह के लिए आप अपने को कमरे में अलग कर लें, जबतक सभी घाव खत्म ना हो जाये। मंकीपॉक्स वायरस के संक्रमण की अवधि 5 से 13 दिनों तक होती है। बता दें, इस साल की शुरुआत में 47 देशों में डब्लूएचओ को मंकीपॉक्स के 3000 से अधिक मामले मिले थे। तेजी से बढ़ते इस संक्रमण का प्रकोप 75 देशों में करीब 16 हज़ार से अधिक मामले सामने आ गए हैं। अभी तक पाँच लोगों की मौत हो गई है। इस संक्रमण का पहला मामला 1970 में कांगो से सामने आया था।