नूपुर शर्मा के खिलाफ दर्ज सभी एफआईआर दिल्ली ट्रांसफर करने का सुप्रीम आदेश
सुप्रीम कोर्ट ने भाजपा से निलंबित नेता नूपुर शर्मा के खिलाफ देश भर में दर्ज सभी एफआईआर दिल्ली ट्रांसफर करने का आदेश दिया है। जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा कि एसआईटी बनाने की जरूरत पर दिल्ली पुलिस खुद फैसला करे।
Supreme Court says till the probe is completed protection from arrest to Nupur Sharma shall continue in all pending and future FIRs
— ANI (@ANI) August 10, 2022
कोर्ट ने कहा कि पुलिस की इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रेटैजिक आपरेशंस एक विशेषज्ञ यूनिट है। अच्छा हो कि वह जांच करे। ज़रूरी लगे तो दूसरे राज्यों से सहायता ले। सुनवाई के दौरान नूपुर के वकील मनिंदर सिंह ने कहा कि कई पक्षों के जवाब नहीं आए हैं। पश्चिम बंगाल से बार-बार समन आ रहा है। तब जस्टिस सूर्यकांत ने कहा कि हमने दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगाई हुई है। तब मनिंदर सिंह ने कहा कि बेहतर हो कि सभी केस दिल्ली ट्रांसफर कर दिए जाएं। मनिंदर सिंह ने मोहम्मद जुबैर मामले में आए आदेश का हवाला दिया।
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने पूछा कि 19 जुलाई को हमारी सुनवाई के बाद क्या कोई और एफआईआर दर्ज हुई है। तब मनिंदर सिंह ने कहा कि हमें दो और एफआईआर की जानकारी है। तब कोर्ट ने पूछा कि उन एफआईआर के नंबर बताइए। कोर्ट ने कहा कि हम सभी एफआईआर को एक साथ जोड़ कर दिल्ली ट्रांसफर कर देंगे। तब मनिंदर सिंह ने कहा कि एफआईआर रद्द करवाने के लिए भी दिल्ली हाई कोर्ट में ही याचिका की अनुमति मिले। तब कोर्ट ने कहा कि हां, ऐसा किया जाएगा।
पश्चिम बंगाल सरकार की वकील मेनका गुरुस्वामी ने कहा कि दिल्ली में दर्ज जिस एफआईआर को पहली एफआईआर बताया जा रहा है, उसमें नूपुर आरोपित नहीं शिकायतकर्ता है। तब कोर्ट ने पूछा कि तो पहली एफआईआर कौन सी है, जिसमें नूपुर आरोपित हैं। तब मेनका गुरुस्वामी ने कहा कि वह एफआईआर मुंबई की है। तब मनिंदर ने कहा कि नूपुर की जान पर खतरे को ध्यान में रखा जाए। तब कोर्ट ने कहा कि हम दिल्ली ही ट्रांसफर करेंगे। इस पर मेनका गुरुस्वामी ने कहा कि यह गलत होगा। पहली एफआईआर मुंबई की है।
कोर्ट ने कहा कि जांच एजेंसी अपना काम कर लेगी। इस पर मनिंदर ने कहा कि असल में इनकी कोशिश है कि समन के चलते बार-बार नूपुर को बाहर जाना पड़े। मेनका ने दखल देते हुए कहा कि पहले सभी एफआईआर दिल्ली ट्रांसफर की मांग एक बार खारिज हो चुकी है। बेहतर हो कि एक संयुक्त एसआईटी बना दी जाए। तब कोर्ट ने कहा कि हमने बाद में यह पाया कि सुरक्षा कारणों से याचिकाकर्ता का देश भर की कोर्ट में जाना संभव नहीं। तब मेनका ने कहा कि खतरे की बात है तो हम सुरक्षा देंगे। 19 जुलाई को कोर्ट ने नूपुर शर्मा की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी। कोर्ट ने कहा कि नूपुर शर्मा की गिरफ्तारी पर लगी रोक जारी रहेगी।